
वह 75 वर्ष के थे। उन्हें लगभग एक महीने पहले अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अस्पताल प्रशासन ने बताया कि उनका निधन सुबह 10:12 बजे हुआ।
इलाज के बावजूद बचाया नहीं जा सका:
एमआईओटी इंटरनेशनल के प्रबंध निदेशक डॉ. पृथ्वी मोहनदास ने मेडिकल बुलेटिन में बताया कि पिछले महीने उन्हें इलाज के लिए भर्ती किया गया था। तमाम कोशिशों के बावजूद 14 दिसंबर को उनका निधन हो गया।
परिवार और राजनीतिक विरासत:
ईवीकेएस इलंगोवन के पिता ईवीके संपत डीएमके के संस्थापक सदस्यों में से एक थे।
संपत ने पेरियार की द्रविड़र कड़गम छोड़कर डीएमके की स्थापना की और बाद में कांग्रेस में शामिल हो गए।
इलंगोवन पेरियार ईवी रामासामी के परपोते थे।
शैक्षणिक पृष्ठभूमि:
इलंगोवन पूर्व मुख्यमंत्री और एआईएडीएमके सुप्रीमो जयललिता के सहपाठी थे।
उन्होंने चेन्नई के चर्च पार्क कॉन्वेंट (अब केवल लड़कियों का विद्यालय) से पढ़ाई की।
राजनीतिक करियर और योगदान:
इलंगोवन पूर्व केंद्रीय मंत्री और तमिलनाडु प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष रहे।
कांग्रेस पार्टी और पेरियार के आदर्शों के लिए वह हमेशा समर्पित रहे।
नेताओं ने दी श्रद्धांजलि:
राहुल गांधी ने सोशल मीडिया पर लिखा, “थिरु ईवीकेएस इलंगोवन के निधन से दुखी हूं। वह निडर और सैद्धांतिक नेता थे। उनका समर्पण तमिलनाडु के लिए प्रेरणा बना रहेगा।”
इलंगोवन की विरासत:
वह अपने साहसिक और स्पष्ट विचारों के लिए जाने जाते थे।
तमिलनाडु के विकास और कांग्रेस पार्टी के मूल्यों को बढ़ाने में उनका योगदान अविस्मरणीय रहेगा।